1971 के अखबार से भारतीय सेना का अमेरिका पर निशाना:कहा-अमेरिका ने युद्ध के लिए पाकिस्तान को हथियार दिए; कल ट्रम्प ने धमकी दी थी
7 hours ago

भारतीय सेना ने मंगलवार को 1971 के एक अखबार की कटिंग शेयर कर अमेरिका पर निशाना साधा है। इसमें दिखाया गया है कि 1971 के युद्ध की तैयारी में अमेरिका पाकिस्तान को हथियार दे रहा था। सेना की ईस्टर्न कमान ने X पोस्ट में लिखा- 'इस दिन, उस साल, युद्ध की तैयारी 05 अगस्त 1971, फैक्ट जानें। 1954 से अब तक (1971) पाकिस्तान को 2 अरब डॉलर के अमेरिकी हथियार भेजे गए।' इंडियन आर्मी का ये पोस्ट अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प की भारत पर ज्यादा टैरिफ लगाने की धमकी के एक दिन बाद आया है। ट्रम्प ने सोमवार को कहा था- भारत रूस से सस्ता तेल खरीदकर उसे खुले बाजार में मुनाफे के साथ बेच रहा है। मैं भारत पर लगने वाले टैरिफ में भारी इजाफा करूंगा। भारत से 1971 का युद्ध पाकिस्तान ने अमेरिका-चीन के हथियारों से लड़ा 5 अगस्त 1971 के अखबार की रिपोर्ट में उस समय के रक्षा उत्पादन मंत्री वीसी शुक्ला के बयान का जिक्र है। उन्होंने राज्यसभा को बताया था कि पाकिस्तान को हथियार देने के मुद्दे पर नाटो देशों और सोवियत संघ से बातचीत की गई थी। रिपोर्ट में यह भी कहा गया कि सोवियत संघ और फ्रांस ने पाकिस्तान को हथियार देने से इनकार कर दिया था, लेकिन अमेरिका ने समर्थन जारी रखा। अमेरिका और चीन दोनों ने पाकिस्तान को हथियार बेहद सस्ती कीमतों पर बेचे थे। इससे यह साफ होता है कि भारत के खिलाफ 1971 का युद्ध पाकिस्तान ने इन्हीं देशों से मिले हथियारों से लड़ा था। ट्रम्प की टैरिफ धमकी पर भारत बोला, अमेरिका भी तो रूस से यूरेनियम-खाद ले रहा अमेरिकी राष्ट्रपति ट्रम्प ने सोमवार को भारत पर 'और ज्यादा टैरिफ' लगाने की धमकी दी जिसके बाद भारत ने पहली बार अमेरिका का नाम लेकर खुलकर जवाब दिया। डोनाल्ड ट्रम्प ने सोमवार को सोशल मीडिया पर लिखा था कि भारत को परवाह नहीं है कि रूस के हमले में कितने लोग मारे जा रहे हैं। इसलिए, मैं भारत पर टैरिफ को बढ़ाने जा रहा हूं। इसके जवाब में भारत ने रूस से अमेरिका और यूरोपीय यूनियन (EU) को होने वाले निर्यात का आंकड़ा जारी कर कहा, 'अमेरिका अपने परमाणु उद्योग के लिए रूस से यूरेनियम हेक्साफ्लोराइड, ईवी उद्योग के लिए पैलेडियम, उर्वरक और रसायन का आयात जारी रखे हुए है। यही हाल EU का है। ऐसे में भारत को निशाना बनाना अनुचित और तर्कहीन है।' पूरी खबर पढ़ें...
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