शाह बोले- विपक्ष जेल को CM-PM हाउस बनाना चाहता है:राहुल ने संसद में लालू को बचाने वाला अध्यादेश फाड़ा था, सरकार गई तो सुर बदले
10 hours ago

गृहमंत्री अमित शाह ने सोमवार को संविधान (130वां संशोधन) विधेयक पर विपक्ष के विरोध को गलत बताया। उन्होंने कहा, 'क्या कोई मुख्यमंत्री (CM), प्रधानमंत्री (PM) या मंत्री जेल से सरकार चला सकता है। वे चाहते हैं कि उन्हें जेल से सरकार चलाने का विकल्प मिले।' न्यूज एजेंसी ANI के इंटरव्यू में शाह ने जगदीप धनखड़ का इस्तीफा, खुद की गिरफ्तारी, संसद में विपक्ष के विरोध पर चर्चा की। उन्होंने कहा, "कभी देश का प्रधानमंत्री जेल जाए तो क्या जेल से प्रधानमंत्री सरकार चलाए, वो क्या ठीक है? कोई मुख्यमंत्री जेल से शासन चलाए, ये क्या ठीक है? जिस भी दल का बहुमत है, उसका कोई अन्य व्यक्ति आकर शासन चलाएगा। आपकी बेल हो जाए तो आप फिर पद संभाल लीजिए।' दरअसल, केंद्र ने 20 अगस्त को संविधान (130वां संशोधन) विधेयक लोकसभा में पेश किया। इसमें प्रावधान है कि कोई प्रधानमंत्री-मुख्यमंत्री या किसी भी मंत्री को गिरफ्तारी या 30 दिन तक हिरासत में रहने पर पद छोड़ना होगा। शर्त यह है कि जिस अपराध के लिए हिरासत या गिरफ्तारी हुई है, उसमें 5 साल या ज्यादा की सजा का प्रावधान हो। विपक्ष इसका विरोध कर रहा है। शाह के इंटरव्यू की 4 बातें, कहा- धनखड़ ने इस्तीफा निजी वजह से दिया खुद की गिरफ्तारी और पद पर रहने पर "मुझ पर आरोप लगने पर जैसे ही CBI ने समन दिया, मैंने दूसरे ही दिन इस्तीफा दे दिया। अरेस्ट तो मैं बाद में हुआ था। बाद में केस चला, फैसला भी आया, जिसमें कहा गया कि पॉलिटिकल वेंडेटा (राजनीतिक बदले के लिए) का केस था। मैं पूर्णतया निर्दोष हूं। मेरी जमानत पहले हो गई थी, फैसला बाद में आया। ये पॉलिटिकल वेंडेटा का केस था, मेरा इससे दूर-दूर तक जुड़ाव नहीं था।" "मुझे शक के आधार पर बरी नहीं किया गया था, मेरे केस को खारिज किया गया था। मुझे इस मामले में 96वें दिन बेल मिल गई थी, लेकिन मैंने मंत्री पद की शपथ नहीं ली थी। जब तक मेरे ऊपर लगे सारे आरोप खारिज नहीं हो गए, तब तक मैंने किसी संवैधानिक पद की शपथ नहीं ली। सीबीआई ने 25 जुलाई, 2010 को सोहराबुद्दीन शेख एनकाउंटर केस में शाह को गिरफ्तार किया था। वे 3 महीने तक जेल में रहे। 29 अक्टूबर, 2010 को जमानत पर रिहा हुए। इसके बाद अक्टूबर 2010 से सितम्बर 2012 तक उन्हें गुजरात से बाहर रहने को कहा गया। 30 दिसम्बर 2014 को सीबीआई कोर्ट ने शाह को इस मामले में बरी कर दिया था।
------------- अमित शाह और तीनों बिलों से जुड़ी ये खबर भी पढ़ें... गिरफ्तारी या 30 दिन हिरासत पर PM-CM का पद जाएगा:5 साल+ सजा वाले अपराध में लागू होगा; सरकार बिल लाई, विपक्ष का विरोध, JPC को भेजा प्रधानमंत्री-मुख्यमंत्री या किसी भी मंत्री को गिरफ्तारी या 30 दिन तक हिरासत में रहने पर पद छोड़ना होगा। शर्त यह है कि जिस अपराध के लिए हिरासत या गिरफ्तारी हुई है, उसमें 5 साल या ज्यादा की सजा का प्रावधान हो।गृह मंत्री अमित शाह ने बुधवार 20 अगस्त को लोकसभा में इससे संबंधित तीन बिल पेश किए। इनके खिलाफ जमकर हंगामा हुआ था। पूरी खबर पढ़ें...
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