जबलपुर में एमपी का सबसे लंबा फ्लाईओवर का कल लोकार्पण:45 मिनट की दूरी 7 मिनट में, ब्रिज के नीचे बास्केटबॉल कोर्ट और पार्क; ड्रोन VIDEO
9 hours ago

जबलपुर में एमपी का सबसे लंबा फ्लाईओवर ब्रिज बनकर तैयार है। 23 अगस्त (शनिवार) को केंद्रीय सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्री नितिन गडकरी और मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव इसका लोकार्पण करेंगे। फ्लाईओवर शुरू होने के बाद मदनमहल से दमोह नाका तक की दूरी सात मिनट में ही पूरी हो सकेगी। अभी तक यह दूरी तय करने के लिए 45 मिनट का समय लगता था। इस फ्लाईओवर की खासियत यह भी है कि इसमें रेल मार्ग के ऊपर देश का सबसे लंबा सिंगल स्पान केबल स्टे ब्रिज भी बना है, जिसकी लंबाई 385 मीटर है। इस फ्लाईओवर की लागत करीब 1100 करोड़ रुपए है। ब्रिज के नीचे 50 हजार पौधे, बास्केटबॉल कोर्ट और पार्क भी बनाए गए हैं। 2019 में हुआ था भूमिपूजन
साल 2019 में केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी ने इस ब्रिज का लोकार्पण किया था। केंद्र सरकार ने इसका निर्माण सीआरएफ से कराने का आदेश जारी किया था। उस समय इसकी लागत 800 करोड़ रुपए थी जो बढ़कर करीब 1100 करोड़ हो गई। सेंट्रल रिजर्व फंड से पहली बार किसी फ्लाईओवर के लिए इतनी राशि मिली है। सितंबर 2023 में एक हिस्से का हुआ था लोकार्पण
7 किलोमीटर लंबे फ्लाईओवर ब्रिज के पूरा बनने के बाद उद्घाटन होना था, लेकिन विधानसभा चुनाव से पहले 27 सितंबर 2023 को पूर्व मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने एक कार्यक्रम के दौरान छोटी लाइन से गुलाटी पेट्रोल पंप तक के फ्लाईओवर ब्रिज का लोकार्पण किया था, जिससे लोगों को काफी राहत मिली थी। लोकार्पण करने पहुंचे थे कांग्रेसी नेता
दो माह पहले कांग्रेस के सैकड़ों कार्यकर्ता फ्लाईओवर ब्रिज का उद्घाटन करने मदनमहल पहुंचे थे, इस दौरान वहां मौजूद पुलिस ने पानी की बौछार कर कांग्रेसियों को रोक दिया था। कांग्रेस नेताओं का आरोप था कि लोक निर्माण मंत्री और जबलपुर सांसद के बीच चल रही खींचतान के कारण जनता के लिए फ्लाईओवर ब्रिज शुरू नहीं किया जा रहा है, जिसके चलते लोग परेशान हो रहे हैं। कांग्रेस नेताओं का कहना था कि 2014 में यूपीए 2 के शासन में सांसद विवेक तन्खा के प्रयास से इसकी नींव रखी गई थी। निर्माण के दौरान फ्लाईओवर में आई थी दरार
करीब 7 महीने पहले ब्रिज के निर्माण के दौरान रोटरी के समीप ऊपरी परत में क्रैक आने का मामला सामने आया था, जिसके बाद 1100 करोड़ रुपए की लागत में बन रहे प्रदेश के सबसे लंबे फ्लाईओवर की गुणवत्ता पर सवाल खड़े हुए थे। लोक निर्माण मंत्री राकेश सिंह के निर्देश पर उच्च स्तरीय जांच दल का गठन किया गया और फ्लाईओवर में आई दरारों का निरीक्षण करने भोपाल से उच्च स्तरीय जांच दल जबलपुर पहुंचा। जांच के बाद दल में शामिल अधिकारियों ने टेक्निकल स्टाफ से चर्चा की और एलिवेटेड कॉरिडोर के पेवमेंट में आई दरारों की वजह का पता लगाने के निर्देश दिए थे। विवादों में रह चुके हैं प्रदेश के ब्रिज
प्रदेश में बनने वाले ब्रिज का विवादों से भी नाता रहा है। भोपाल का ऐशबाग ओवरब्रिज अपने 90 डिग्री एंगल की डिजाइन के लिए देशभर में चर्चा का विषय बना। इसके अलावा इंदौर का ब्रिज भी अपने जेड आकार के चलते विवादों में रहा है। एमपी में बने महत्वपूर्ण फ्लाईओवर ओवरब्रिज भारत का सबसे लंबा फ्लाईओवर हैदराबाद में
भले ही मप्र का सबसे लंबा फ्लाईओवर ओवरब्रिज जबलपुर में बनकर तैयार हो रहा है, लेकिन देश का सबसे लंबा फ्लाईओवर ओवरब्रिज हैदराबाद में है। यह ब्रिज 2022 में बनकर तैयार हुआ विश्वेश्वरैया फ्लाईओवर ब्रिज की लंबाई 11.6 किलोमीटर है। ये भी पढ़ें... फ्लाईओवर के उद्घाटन कार्यक्रम को लेकर कांग्रेस का विरोध जबलपुर में प्रदेश के सबसे बड़े फ्लाईओवर के लोकार्पण के पहले कांग्रेस एक बार फिर हमलावर हो गई है। इस बार मुद्दा जनता की परेशानी है। फ्लाईओवर के उद्घाटन समारोह के लिए शहर की मुख्य सड़क पर मंच बनाया गया है। कांग्रेस का कहना है कि इससे जनता परेशान हो रही है। हाईकोर्ट ने भी किसी कार्यक्रम के लिए मेन रोड बंद करने पर रोक लगाई है। गुरुवार रात कांग्रेसियों ने बैरिकेड तोड़े और धरना दिया। पढ़ें पूरी खबर... इंदौर-उज्जैन मेट्रो 10 हजार करोड़ में चलेगी, 11 स्टेशन बनेंगे इंदौर से उज्जैन तक 45 किलोमीटर तक मेट्रो दौड़ेगी। इसकी डीपीआर (डिटेल प्रोजेक्ट रिपोर्ट) तैयार हो गई है। जल्द ही सीएम डॉ. मोहन यादव रिव्यू करेंगे। इसके बाद कैबिनेट बैठक में रखा जाएगा। हालांकि, फंड और डिपो के लिए सरकारी जमीन जैसी कुछ अड़चनें हैं, जिससे प्रोजेक्ट ने रफ्तार नहीं पकड़ी है। पढ़ें पूरी खबर...
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