CM उमर बोले- टूरिज्म मेरी जिम्मेदारी, सुरक्षा नहीं:अमरनाथ यात्रा का सफल समापन हमारी प्रतिबद्धता; जम्मू-कश्मीर में 3 सरकारों को मिलकर काम करना होगा
2 months ago

जम्मू-कश्मीर के मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला मंगलवार को पहलगाम पहुंचे। उन्होंने पहलगाम क्लब एंड कन्वेंशन सेंटर में स्पेशल कैबिनेट बैठक की। ऐसा पहली बार हुआ कि जब उमर सरकार के इस कार्यकाल में श्रीनगर या जम्मू के बाहर कैबिनेट मीटिंग की गई हो। अब्दुल्ला ने कहा- जम्मू-कश्मीर में एक अजीब व्यवस्था है, क्योंकि टूरिज्म मेरी जिम्मेदारी है, लेकिन सुरक्षा मेरी जिम्मेदारी नहीं है। टूरिज्म संघर्ष से अलग होना चाहिए, इसे सामान्य स्थिति का पैमाना नहीं बनाना चाहिए। उमर ने कहा कि यहां तीन सरकारों को एक साथ काम करना होगा, जम्मू-कश्मीर की चुनी सरकार (उमर अब्दुल्ला की सरकार), जम्मू-कश्मीर में अनिर्वाचित सरकार (उपराज्यपाल का प्रशासन) और केंद्र सरकार। उमर ने जुलाई महीने से शुरू होने वाले अमरनाथ यात्रा के सुरक्षित और सफल समापन के लिए सरकार प्रतिबद्ध है। श्रीनगर, गुलमर्ग और युसमर्ग जैसे अन्य क्षेत्र व्यापार के लिए खुले हैं। यात्रा और पर्यटन दोनों की साथ में बहाली की जा सकती है। 22 अप्रैल को पहलगाम की बैसरन घाटी में आतंकी हमला हुआ था। इसमें 26 टूरिस्ट्स की हत्या की गई थी। हमले के बाद से जम्मू-कश्मीर में पर्यटकों की संख्या में भारी गिरावट आई है। इसी को बूस्ट करने की सोच को लेकर मीटिंग की गई। केंद्र सरकार को लोगों को सुरक्षा की भावना देना जरूरी उन्होंने कहा कि केंद्र सरकार अगर लोगों (टूरिस्ट्स) को सुरक्षा की भावना नहीं दे सकेगी तो जम्मू-कश्मीर में टूरिज्म दोबारा कैसे शुरू कर सकते हैं। PM मोदी ने कुछ दिन पहले जम्मू-कश्मीर के टूरिज्म को लेकर बैठक की थी। CM ने 2009 से 2014 तक जम्मू-कश्मीर के मुख्यमंत्री के रूप में अपने पहले कार्यकाल के दौरान उत्तर कश्मीर के गुरेज, माछिल, तंगधार और जम्मू क्षेत्र के राजौरी और पुंछ सेक्टर जैसे दूरदराज इलाकों में कैबिनेट की बैठकें की थीं। उमर बोले- ट्यूलिप गार्डन बंद करना, मतलब पूरे कश्मीर को बंद करना उमर ने कहा दिल्ली में नीति आयोग की बैठक हुई के दौरान पीएम मोदी से बात करने का मौका मिला। हमने जम्मू-कश्मीर में पर्यटन को बहाल करने के तरीकों पर चर्चा की। मैं यहां पूरी जानकारी नहीं बता सकता, लेकिन केंद्र इस पर कुछ ठोस कदम उठाएगा। मैं कश्मीर के लोगों खासकर पहलगाम के लोगों को धन्यवाद देना चाहता हूं, जिन्होंने 22 अप्रैल को पर्यटकों पर हुए आतंकी हमले की निंदा की और इसके खिलाफ एक साथ खड़े हुए। इसके लिए मैं उनका धन्यवाद करता हूं और उन्हें सलाम करता हूं। उमर ने कहा- पिछले पांच से छह सप्ताह देश के लिए खास तौर पर जम्मू-कश्मीर के लोगों के लिए मुश्किल भरे रहे हैं। इसलिए मेरा सुझाव है कि हम अलग-अलग पर्यटन स्थलों की सिक्योरिटी ऑडिट करेंगे। उन्होंने कहा कि धीरे-धीरे उन्हें खोलना शुरू करेंगे। जैसे- अरु, बेताब घाटियां, सोनमर्ग में थजवास ग्लेशियर, श्रीनगर में बादामवारी और ट्यूलिप गार्डन। अगर हमें ट्यूलिप गार्डन को बंद करना है, तो हमें पूरे कश्मीर को बंद करना होगा। CM उमर ने कहा था- सुरक्षा मेरी जिम्मेदारी थी, माफी के लिए शब्द नहीं पहलगाम में आतंकी हमले के बाद जम्मू-कश्मीर सरकार ने 28 अप्रैल को एक दिन का विशेष विधानसभा सत्र बुलाया था। इसमें पहलगाम हमले के खिलाफ सर्वसम्मति से एक प्रस्ताव पारित किया था। प्रस्ताव में कहा गया कि ऐसे आतंकी हमले ‘कश्मीरियत’, देश की एकता, शांति तथा सद्भावना पर सीधा हमला हैं। मुख्यमंत्री ने विधानसभा में 26 मिनट का भावुक भाषण भी दिया। उन्होंने कहा था- जम्मू-कश्मीर की सुरक्षा लोगों की चुनी हुई हुकूमत की जिम्मेदारी नहीं है, लेकिन CM और टूरिज्म मिनिस्टर होने के नाते मैंने इन्हें बुलाया था। मेजबान होने के नाते मेरी जिम्मेदारी थी कि इन्हें सुरक्षित भेजूं, नहीं भेज पाया। विधानसभा में CM उमर का पूरा भाषण पढ़ें... केंद्र ने पहलगाम हमले के बाद ऑपरेशन सिंदूर लॉन्च किया था
पहलगाम आतंकी हमला का बदला लेने के लिए भारत सरकार ने 7 मई को पाकिस्तान अधिकृत कश्मीर (PoK) और पाक में मौजूद 9 आतंकी ठिकानों पर एयरस्ट्राइक की थी। सेना ने 100 आतंकियों को मार गिराया था। .................................... पहलगाम हमले से जुड़ी यह खबर भी पढ़ें... हरियाणा के भाजपा सांसद बोले- सुहाग खोने वाली महिलाओं में वीरांगनाओं जैसा जोश नहीं था, इसलिए 26 लोग मरे पहलगाम आतंकी हमले पर हरियाणा से BJP के राज्यसभा सांसद रामचंद्र जांगड़ा ने विवादित बयान दिया है। उन्होंने कहा कि अपना सुहाग खोने वाली महिलाओं में वीरांगना का भाव व जोश नहीं था, इसलिए 26 लोग गोली का शिकार बने। सांसद ने कहा कि पर्यटक हाथ जोड़कर मारे गए। अगर PM की योजना के तहत ट्रेनिंग लेते और सामना करते तो इतनी मौतें नहीं होतीं। पूरी खबर पढ़ें...
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